मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अपराध समीक्षा बैठक के दौरान दिए निर्देश

संवाद सहयोगी/नागरिक ब्यूरो

देहरादून/हरिद्वार। हरिद्वार में ज्वेलर्स के शो रूम पर हुई डकैती का मामला आज मुख्यमंत्री की अपराध समीक्षा बैठक में उठा। इस घटना को लेकर सत्तापक्ष के सांसद द्वारा ही सवाल उठाए जाने के बाद पुलिस के मनोबल को कायम रखने के लिए मुख्यमंत्री ने इस घटना की जांच के लिए एस पी सिटी के नेतृत्व में जांच समिति बनाने के निर्देश दिए। साथ ही निर्देश दिए कि उत्तराखंड किसी भी सूरत में पड़ोसी राज्य के अपराधियों की कर्म स्थली न बनने पाए।

ध्यान रहे कि विगत दिवस मध्य हरिद्वार स्थित बालाजी ज्वेलर्स को निशाना बनाते हुए आधा दर्जन डकैतों ने दिन दहाड़े डाका डाला था और वे करीब 5 करोड़ मूल्य के आभूषण लूट ले गए थे। इस मामले में यह समाचार लिखे जाने तक भी पुलिस के हाथ अभी तक खाली दिखाई दे रहे हैं। इस बीच सत्ता पक्ष के ही सांसद और पूर्व मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने इसे लेकर कानून व्यवस्था पर सवाल उठाया था। उन्होंने इसे लेकर व्यापारियों की नाराज़गी का भी उल्लेख किया था और पूरी घटना को पुलिस की लापरवाही का परिणाम बताया था। दूसरी ओर विपक्ष भी खासतौर पर महिला संबंधी अपराधों को लेकर सरकार के कामकाज और राज्य की कानून व्यवस्था पर सवाल उठाता आ रहा है। इसी स्थिति के बीच मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सोमवार को मुख्यमंत्री आवास में शासन के उच्चाधिकारियों एवं बीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से पुलिस महानिदेशक सहित आयुक्तों, पुलिस उप महा निरीक्षकों, जिलाधिकारियों एवं वरिष्ठ पुलिस अधीक्षकों के साथ प्रदेश की कानून व्यवस्था की गहनता से समीक्षा की।

उन्होंने अधिकारियों को प्रदेश की कानून व्यवस्था को चुस्त – दुरुस्त बनाने तथा अपराधों पर प्रभावी नियंत्रण के सख्त निर्देश दिये। प्रदेश में ज्वेलरी दुकानों पर डकैती सहित अन्य अपराधों के प्रति नाराजगी व्यक्त करते हुए मुख्यमंत्री ने अपराधों पर प्रभावी नियंत्रण के लिये अधिकारियों का आपसी समन्वय बनाने, सूचनाओं के त्वरित संप्रेषण, इंटेलिजेंस व्यवस्था को प्रभावी बनाये जाने, रात्रि पेट्रोलिंग की व्यवस्था सुनिश्चित किये जाने पर ध्यान देने के निर्देश दिये।

मुख्यमंत्री ने वरिष्ठ पुलिस अधीक्षकों को किसी भी आपराधिक घटना को ससमय ब्रीफिंग किये जाने के निर्देश देते हुए इसकी जानकारी सूचना महानिदेशक को भी अविलम्ब उपलब्ध कराये जाने को कहा, ताकि घटनाओं की वास्तविक स्थिति मीडिया के माध्यम से आमजन तक पहुंचे। उन्होंने मीडिया से निरन्तर समन्वय बनाये रखने को कहा। उन्होंने महिलाओं के प्रति होने वाले अपराधों पर नियंत्रण के लिये गौरा शक्ति एप को और अधिक सक्रिय बनाये जाने पर ध्यान देने को कहा। उन्होंने कहा कि धर्मांतरण, लव जिहाद आदि मामलों में आवश्यक कार्यवाही किये जाने पर भी विशेष ध्यान दिया जाए। उन्होंने प्रदेश में अपराध कहां बढ रहे हैं और क्यों बढ रहे हैं इस पर भी चिन्तन की जरूरत बताई। डेमोग्राफिक चेंज की समस्या के समाधान के लिये भी संबंधित सभी एजेंसियों के मध्य समन्वय पर ध्यान देने के निर्देश भी उन्होंने दिये।

मुख्यमंत्री ने कहा कि देवभूमि उत्तराखण्ड बाहरी प्रदेशों के अपराधियों की शरणगाह न बनें इसके लिये सीमावर्ती क्षेत्रों में निरन्तर सघन चेकिंग अभियान संचालित किया जाय। अपराधियों के मन में पुलिस का भय तथा आमजन का पुलिस के प्रति भरोंसा बढे यह सुनिश्चित किया जाय। उन्होंने किरायेदारों तथा बाहरी व्यक्तियों के सत्यापन पर भी ध्यान देने के निर्देश देते हुए किरायेदार व अन्य शिक्षण संस्थाओं में पढ रहें बच्चे राज्य के नागरिक कैसे बनाए जा रहे है इस पर भी ध्यान देने को कहा है।

मुख्यमंत्री ने हरिद्वार में हुए ज्वैलरी दुकान डकैती के प्रकरण में एसपी सिटी की अध्यक्षता में जांच समिति गठित किये जाने के निर्देश देते हुए कहा कि इस प्रकरण में जो भी जिम्मेदार होगा उसके विरूद्ध कार्यवाही सुनिश्चित की जाए। उन्होंने उत्तराखण्ड को 2025 तक नशा मुक्त प्रदेश बनाने के लिये भी प्रयासरत रहने तथा सामुदायिक पुलिसिंग पर ध्यान देने पर बल दिया। प्रदेश में अपराधों पर नियंत्रण के लिये क्या बेहतर किया जा सकता है इस पर भी चिन्तन किये जाने की जरूरत मुख्यमंत्री ने बतायी। शिकायतों के त्वरित निस्तारण तथा अधीनस्थों के साथ अधिकारियों का सरल व्यवहार व क्षेत्रवाद की भावना से दूर रहने पर भी उन्होंने बल दिया। साइबर क्राईम पर प्रभावी रोकथाम के लिये जन जागरूकता व प्रशिक्षण कार्यक्रमों को प्रभावी बनाने के निर्देश मुख्यमंत्री ने दिये हैं।