लोक निर्माण विभाग के अधिकारियों सहित मौके पर जाकर देखी स्थिति, किया मीडिया को ब्रीफ

एन हसीन

रुड़की। सोलानी नदी के पुल के निर्माण हेतु केंद्रीय निधि सीआरएफ से 38 करोड रुपए की राशि मंजूर हो जाने से नगर विधायक प्रदीप बत्रा खासे उत्साहित हैं। चूंकि उन्होंने इसके लिए विधानसभा में बार-बार सवाल उठाया था, इसलिए वे नगर की जनता को यह बताने के लिए भी लालायित दिखाई दिए कि धनराशि उनके प्रयासों से स्वीकृत हुई है। वैसे उनका उत्साह इससे भी दिखाई देता है कि धनराशि जारी होते ही वे आज लोक निर्माण विभाग के अमले को साथ लेकर चयनित पुल स्थल का अवलोकन करने हेतु पहुंच गए और वहां उन्होंने मीडिया को बयान भी दिया।

यह खासी दिलचस्प स्थिति है कि जब राज्य सरकार द्वारा पुल निर्माण के लिए धनराशि जारी नहीं की जा रही थी तब मीडिया भी अपने सवाल लोक निर्माण विभाग के अधिशासी अभियंता विपुल कुमार सैनी के ऊपर दाग रहा था और नगर विधायक खुद भी इस मामले में कोई बयान देने से बच रहे थे। यह सच है कि बत्रा पुल के निर्माण की मांग को विधानसभा में बार-बार उठा रहे थे। शुरुआत में एकाध बार कलियर विधायक हाजी फुरकान अहमद ने भी इस मामले को विधानसभा में उठाया था। बहरहाल, विधानसभा के बाहर इस पुल के विषय में बात करने से प्रदीप बत्रा परहेज कर रहे थे। सदन के बाहर इससे संबंधित सवाल उनसे न कोई पूछ रहा था और न ही वे किसी को अपनी ओर से कोई बयान दे रहे थे। प्रदीप बत्रा विधायक हैं और उन्हें मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निकट विधायकों में माना जाता है। उनके विषय में यह चर्चा भी आम चलती रहती है कि जब कभी भी राज्य के धामी मंत्रिमंडल का विस्तार होगा, प्रदीप बत्रा इसका हिस्सा बनेंगे। ऐसे में पुल की धनराशि स्वीकृत होने के मामले में किसी भी प्रकार का नकारात्मक जवाब जाहिर है कि प्रदीप बत्रा और सरकार के रिश्तों को असहज करने के लिए काफी होता और सकारात्मक बताने के लिए उनके पास कुछ था नहीं। इसीलिए जब महानगर कांग्रेस अध्यक्ष राजेंद्र चौधरी की अगवाई में कांग्रेस बार-बार पुल के निर्माण की मांग और इस मामले में ज्ञापन देने से लेकर धरना प्रदर्शन तक सबकुछ कर रही थी, तब मीडिया के सवालों का रुख प्रदीप बत्रा की ओर नहीं था, बल्कि लोक निर्माण विभाग के अधिकारियों की ओर था। उस समय विपुल कुमार सैनी ने ही मीडिया को यह बताया था कि पुल निर्माण का प्रस्ताव धनराशि आवंटन के लिए केंद्र सरकार के पास भेज दिया गया है और वहां से मंजूरी मिलने के बाद पुल का निर्माण कार्य शुरू कर दिया जाएगा।

अब जबकि बजट आवंटन की प्रक्रिया पूरी हो गई है और अब सवाल निविदा प्रक्रिया शुरू होने का है तो जाहिर है कि इस प्रक्रिया में नगर विधायक की कोई भूमिका नहीं है। इसके बावजूद धनराशि आवंटन की मंजूरी आने की घोषणा तो प्रदीप बत्रा ने की ही, निर्माण को लेकर भी उनका उत्साह दिखाई दिया। वे विपुल कुमार सैनी और उनके अधिनस्थों को साथ लेकर आज पुल के लिए चयनित स्थान पर पहुंच गए। पहले उन्होंने चयनित स्थल का निरीक्षण किया और उसके विषय में विपुल कुमार सैनी के साथ बातचीत की। तत्पश्चात उन्होंने मीडिया को पुल के विषय में ब्रीफ किया। उन्होंने बताया की 368 मी लंबाई और 7 मी की चौड़ाई वाले इस पुल के लिए 38 करोड रुपए की धनराशि स्वीकृत हुई है। साथ ही उन्होंने बताया कि इसकी निविदा प्रक्रिया अप्रैल के महीने में पूरी कर ली जाएगी और मई के महीने में काम शुरू हो जाएगा। साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि उनकी कोशिश यह रहेगी की पुल इसी वर्ष बनकर तैयार हो जाए।